सोमवार, 18 मार्च 2024

कोई रस्म बाकी ना रही मोहब्बत निभाने के लिए. बताओं कितना ओर चाहूँ तुम्हें पाने के लिए..

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें