शुक्रवार, 29 मार्च 2024

मन नहीं भरता देखने से भी, रब ने तुम्हें ऐसा संवारा है बेताब सी हो जाती हैं नज़रें ज़ब दिखता ये चेहरा तुम्हारा है ..

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